जान्तव द्रव्य
जान्तव द्रव्य – कस्तुरी – Moskus,Musk मृगनाभि वेधमुख्या सहस्त्रभिद् (सहस्त्रवेदी – हिंगु) रस – कटु वीर्य – ऊष्ण विपाक – कटु चतुर्भुज रस ,हिंगुकर्पूर वटी,दशमूलारिष्ट,मृगमदासव मात्रा - ६०-१२० मि.ग्रा. ( ½ -१रत्ती ) o कामरुप - कृष्ण o नेपाली - नील o काश्मरी – कपिल – श्रेष्ठ – ( केशर का भेद भी – ३ – काश्मरी बाह्लीक पारसीक) मृगश्रंग – शम्बर,विषाण मधुर उष्ण मधुर ( श्रृंग – हृदयशूल,पार्श्वशूल) बालार्कगुटिका क्षयकेसरी रस अग्निजार – अम्बर – ambergris - बृहत ब्राह्मी वटी ...